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School library rules for students : 10 school library rules

1. The Readers are to maintain silence in the library. Use of cell phones is prohibited. 2. The Readers are to follow the rules of library and maintain proper discipline. 3. No books will be issued without library card. 4. Library card is not transferable. In case of loss/damage, Rupees 10/- will be charged for the issue of new card. 5. The books will be issued for one week. However they can be re-issued depending upon availability. 6. A fine of rupees 2/- per day will be charged for delayed returning. 7. The borrowers are to check the books before leaving the library. 8. Any damage / loss or tampering with the books will be charged as per library rules. 9. No books can be taken out without permission. 10. No bags are allowed in the library.

Holi essay in English 10 lines

Holi is the festival of colours. It is celebrated in the month of March when the crops of wheat and millet are ready for harvesting. It is also considered as a harvest festival. On this day, people apply coloured powder or gulal on friends and relatives. They also sprinkle coloured water on on another with a 'Pichkari'. That is why, it is called a festival of colours. People embrace one another and also distribute sweets.

शिशु का नाम भोलानाथ कैसे पड़ा? माता का अँचल पाठ के आधार पर बताइए।

शिशु का मूल नाम तारकेश्वर नाथ था। उसके पिता शिवभक्त थे। सुबह नहला-धुला कर वे उसे अपने पास पूजा में बिठा लेते समीप बिठाकर वे उसके ललाट पर भभूत लगाकर त्रिपुंडाकार का तिलक लगा देते। लम्बी जटाएं होने के कारण वह खासा यमभोला प्रतीत होता पिताजी शिशु से कहते कि बन गया भोलानाथ। फिर तारकेश्वर नाथ न कहकर धीरे धीरे उसे भोलानाथ कहकर पुकारने लगे और फिर नाम हो गया भोलानाथ।

'लड़की अभी सयानी नहीं थी काव्य-पंक्ति से कवि ऋतुराज का क्या अभिप्राय है?

लड़की को सांसारिक सूझबूझ से काम करने की जानकारी नहीं थी। वह वैवाहिक जीवन की कठिनाइयों से अपरिचित थी। उसे सांसारिक छल-कपट की समझ नहीं है। वह सरल स्वभाव की है। उसे ससुराल किस प्रकार व्यवहार करना है उसकी बिल्कुल भी जानकारी नहीं है यह सिर्फ एक बात जानती है कि वहां पर उसके पति होंगे और उसके सास और ससुर होंगे जो उसको अपने माता पिता की तरह ही रखेंगे।

'परिमल' की गोष्ठियों में फादर की क्या स्थिति थी ? लेखक तथा अन्य प्रतिभागियों के साथ उनके संबंध कैसे थे ?

परिमल में सभी सदस्य एक पारिवारिक रिश्ते में बंधे थे जिसके बड़े फादर बुल्के थे। विनोद, हास-परिहास के साथ वे साहित्यिक गोष्ठियों में बेबाक राय देते तथा सभी परिवारों के संस्कारों में बड़े भाई और पुरोहित की भाँति खड़े रहकर सबको अपने आशीर्वाद से भर देते।

दीपावली के अवसर पर मित्र को शुभकामना देते हुए 30-40 शब्दों में संदेश लिखिए।

संदेश 13 नवंबर 2020 रात्रि 10 बजे प्रिय मित्र! कल प्रकाश पर्व दीपावली का पावन त्योहार है। झिलमिल दीपों की रोशनी से प्रकाशित ये दिवाली आपके परिवार में सुख समृद्धि एवं आरोग्यता लेकर आए। आप पर सदैव लक्ष्मी-गणेश की कृपा बनी रहें। इस पावन पर्व पर मेरे परिवार की ओर से आप सभी को हार्दिक शुभकामनाएँ। निषाद परिवार

प्रधानाचार्य जी द्वारा कोविड-19 माहामारी के कारण विद्यालय बंद रहने हेतु 30-40 शब्दों में संदेश लिखिए।

संदेश 5 अक्टूबर 2020 प्रातः 6 बजे प्रिय छात्रों कोविड-19 महामारी के कारण, शिक्षा निदेशालय के आदेश क्रमांक 125 दिनांक 05/10/2020 के अनुसार विद्यालय दिनांक 31/10/2020 तक बंद रहेंगे। आप सभी अपने घरों में स्वस्थ और सुरक्षित रहें। स्वास्थ्य मंत्रालय द्वारा जारी सभी सावधानियों व नियमों का पालन करें। आप सभी के अच्छे स्वास्थ्य की कामना करता हूँ। प्रधानाचार्य रामेश्वरम विद्यालय