बालगोबिन भगत जी अपनी पतोहू को उत्सव मनाने को क्यों कहते हैं ?
भगत जी का मानना था कि आत्मा परमात्मा का अंश है वह सदा परमात्मा से मिलने के लिए तड़पती है , जब व्यक्ति मरता है, तो आत्मा परमात्मा से मिल जाती है। उसकी तड़पन समाप्त हो जाती है, इसलिए भगत जी अपनी पतोहू को उत्सव मनाने की बात कह रहे थे।
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